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यहाँ
इस स्थान पर, इस दुनिया में, इस जगह पर, इस तरफ़, इस अवसर पर
यहीं
इसी जगह, इसी स्थान पर, इसी दुनिया में, इसी संसार में
यही
इस जैसा ही, ऐसा ही, इसी तरह का, इसी प्रकार का
यहया
(शाब्दिक) जीता है, जीवित है
yah
तम्सख़र या सरकशी के इज़हार के तौर पर।
याहाँ
इस स्थान पर, इस दुनिया में, इस मक़ाम पर, इस तरफ़
यहाँ के
اس جگہ کی ، اس علاقے کی ؛ اس جگہ کے ، اس علاقے کے ۔
यहाँ का
इस जगह का, इस क्षेत्र या स्थान का
यहाँ की
اس جگہ کی ، اس علاقے کی ؛ اس جگہ کے ، اس علاقے کے ۔
यहीं के
اسی مقام یا شہر کی / کے ۔
यहीं की
اسی مقام یا شہر کی / کے ۔
यही हैं
ख़ास यही हैं, मतलब ठीक वही हैं
यहीं-से
इसी स्थान से, इसी क्षेत्र से नीज़ इसी उपयुक्त समय या पड़ाव से
यहाँ से
इस स्थान या स्थल से, इस इलाक़े या जगह से
यह बड़ मिट्ठा यह बड़ खट्टा
उस के संबंध में कहते हैं जो असमंजस की स्थिति में हो
यह बड़ मीठा यह बड़ खट्टा
उस के संबंध में कहते हैं जो असमंजस की स्थिति में हो
यह वह गुड़ नहीं जो मक्खियाँ खाएँ
हर एक को यह बात हासिल नहीं हो सकती
यह वह गुड़ नहीं जिसे मक्खियाँ खाएँ
हर एक को यह बात हासिल नहीं हो सकती
यह वह गुड़ नहीं जो मक्खी बैठे
हर एक को यह बात हासिल नहीं हो सकती
यह वह गुड़ नहीं जिस को मक्खियाँ खाएँ
हर एक को यह बात हासिल नहीं हो सकती
यह भी दाम ग़ुलामों खाए, यह भी बैगन काट पकाए
हमें सब तरह का अनुभव हो गया और हम तुम्हारी सब चालाकियाँ पहचान गए
यह वह गुड़ नहीं जो च्यूँटियाँ खाएँ
हर एक को यह बात हासिल नहीं हो सकती
यह बात वह बात, टका धर मोरे हाथ
जो व्यक्ति इधर-उधर की बातें बना कर अथवा हर तरह से अपना लाभ चाहता है तो उसके प्रति यह वाक्य कहते हैं
यह बात वह बात, टका धर मेरे हाथ
जो व्यक्ति इधर-उधर की बातें बना कर अथवा हर तरह से अपना लाभ चाहता है तो उसके प्रति यह वाक्य कहते हैं
यह वह गुड़ नहीं जो च्यूँटे खाएँ
हर एक को यह बात हासिल नहीं हो सकती
यह वह गुड़ नहीं जो च्यूँटी खाए
हर एक को यह बात हासिल नहीं हो सकती
यह बेल मंढे चढ़ते मा'लूम नहीं होती
इसका परिणाम अच्छा नहीं है और ये बात फलती-फूलती नहीं दिख रही है
यह बेल मंढे चढ़ती नज़र नहीं आती
इसका परिणाम अच्छा नहीं है और ये बात फलती-फूलती नहीं दिख रही है
यह मेरी सिक्षा मान रे चेले, वह सो मत मिल जुवा जो खेले
जवारीयों से मेल-जोल नहीं रखना चाहिए
यह मेरी सिक्षा मान रे चेले, वा सू मत मिल जुवा जो खेले
जवारीयों से मेल-जोल नहीं रखना चाहिए
यह तीन काने और यह पौ बारा
एक अभागा है और एक भाग्यवान
यहाँ कहीं
कहीं इधर ही, यहीं कहीं, यहीं आस पास, कहीं, किसी जगह
यहाँ-कहाँ
उधर कैसे (किसी के ग़ैर मुताल्लिक़ जगह पर अचानक मिलने पर कहते हैं)
याह-याह
ऊँट हाँकते समय बोला जाने- वाला शब्द।
यहाँ-वहाँ
उधर-उधर, कई जगह, हर जगह, आस-पास, इर्द-गिर्द, प्रतीकात्मक: इस दुनिया में और उसके बाद में
यहाँ कुछ नाल तो नहीं गड़ा
यहां तुम पैदा तो नहीं हुए जो इस क़दर दावा और इस्तिहक़ाक़ जताते हो यानी ये जगह कोई वतन मौलिद तो नहीं कि छूट ना सके , जहां सींग समाएं गे चले जाऐंगे
यहाँ कुछ माल तो नहीं गड़ा है
जहाँ कोई अपना दावा या विशेषाधिकार जताता है, वहाँ ऐसा कहा जाता है
यहाँ सब कान पकड़ते हैं
यहाँ सब का सर झुका हुआ है, इस जगह किसी की उस्तादी नहीं चलती, यहाँ कोई दावा नहीं कर सकता, इस जगह सब मजबूर हैं
यहाँ कुछ नाल तो नहीं गड़ी
यहां तुम पैदा तो नहीं हुए जो इस क़दर दावा और इस्तिहक़ाक़ जताते हो यानी ये जगह कोई वतन मौलिद तो नहीं कि छूट ना सके , जहां सींग समाएं गे चले जाऐंगे
यहाँ ज़रूर कुछ दाल में काला है
यहाँ तो गोया उनकी नाल गड़ी हुई है
किसी जगह से किसी को बहुत लगाव हो और बार-बार आए तो कहते हैं जिस जगह बच्चे की नाल दफ़्नाई जाती है उस जगह से एक लगाव होता है
यहाँ अछूं (फ़रिशतों के) पर जलते हैं
یہاں تک کسی کی رسائی نہیں، یہاں کوئی دم نہیں مارسکتا
यहाँ के बावा आदम निराले हैं
रुक : यहां का बाबा ।।।।। अलख, यहां की हर बात अजीब है
यहाँ क्या तेरा नाल गड़ा है
जहाँ कोई अपना दावा या विशेषाधिकार दिखाए तो कहते हैं
यहाँ से वहाँ
एक जगह से दूसरी जगह, इधर से उधर
यहाँ न वहाँ ये बला कहाँ
ख़ानाबदोश आदमी है एक जगह नहीं टिकता
यही ना
केवल इतना ही न, इतना ही कि, ऐसे ही कि, सिर्फ़ इतनी ही बात है, सिर्फ़ यही बात नाकि
यहाँ हज़रत जिब्राईल के भी पर जलते हैं
यहां तक ही रसाई थी (मेराज के वाक़िया की तरफ़ इशारा है, हज़रत जबराईलऑ पैग़ंबर सिल्ली अल्लाह अलैहि वालही वसल्लम के हमराह थे एक मौक़ा पर जा के उन्हों ने कहा कि वो इस से आगे नहीं जा सकते पैग़ंबर सिल्ली अल्लाह अलैहि वालही वसल्लम आगे तन्हा रवाना हुए
यहाँ से वहाँ तक
एक जगह से दूसरी जगह तक या दूर दूर तक
यहाँ क्या तुम्हारा नाल गढ़ा है
रुक : यहां कुछ नाल तो नहीं गढ़ा